स्वामी विशेश्वरानंद महाराज बने रामकृष्ण मिशन सेवाश्रम कनखल हरिद्वार के नए सचिव

सुमित यशकल्याण


हरिद्वार
रामकृष्ण मिशन सेवाश्रम एवं मठ कनखल के नए सचिव स्वामी विशेश्वरानंद महाराज रामकृष्ण मिशन सेवाश्रम कनखल हरिद्वार के नए सचिव बनाए गए हैं उनकी नियुक्ति श्री रामकृष्ण मिशन बेलूर मठ कोलकाता के मुख्य स्वामी जी महाराज ने की आज रामकृष्ण मिशन सेवा आश्रम कनखल में दिवंगत सचिव स्वामी नित्यशुद्धानंद महाराज के श्रद्धांजलि समारोह में यह ऐलान किया गया।
स्वामी विश्वेश्वरानंद इटानगर अरुणाचल प्रदेश में स्थित रामकृष्ण मिशन सेवाश्रम से जुड़े थे और जनजाति समाज की सेवा में लगे हुए थे
इस अवसर पर संत सम्मेलन का आयोजन किया गया जिसकी अध्यक्षता जूना पीठाधीश्वर आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी अवधेशानंद महाराज ने की सम्मेलन और श्रद्धांजलि सभा को संबोधित करते हुए मुख्य वक्ता योग गुरु स्वामी रामदेव ने कहा कि स्वामी नित्यशुद्धानंद महाराज एक कर्म योगी, निस्वार्थ और निष्काम सेवा वाले संत थे जिन्होंने रामकृष्ण मिशन को ऊंचाइयों तक पहुंचाया
आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी अवधेशानंद महाराज ने कहा कि रामकृष्ण मिशन 121 साल से चिकित्सा के क्षेत्र में निस्वार्थ भाव से सेवा कर रहा है और यह हरिद्वार का सबसे पुराना अस्पताल है जिसने स्वामी विवेकानंद के नर सेवा नारायण सेवा के सिद्धांत को धरातल पर उतारता है उन्होंने कहा कि स्वामी स्वामी नित्यशुद्धानंद महाराज मानवतावादी थे उनके अनुसरण पर मिशन के नए सचिव और उनके उत्तराधिकारी स्वामी विशेश्वरानंद महाराज चलेंगे।


श्री निर्मल पीठाधीश्वर श्री महंत ज्ञानदेव महाराज ने कहा कि समस्त संत समाज रामकृष्ण मिशन के साथ है इस अवसर पर महामंडलेश्वर स्वामी विज्ञानानंद महाराज, महानिर्वाणी पंचायती अखाड़े के सचिव महंत महंत रविंद पुरी , महंत रघुवीर दास ,महंत दुर्गादास, महंत जसविंदर सिंह शास्त्री ,रामकृष्ण मिशन के सह सचिव उमेश्वरानंद मंजू महाराज ,स्वामी दयाधिपानंद महाराज ,स्वामी जगदीश महाराज ,महामंडलेश्वर अर्जुन पुरी, महामंडलेश्वर हरी चेतनानंद ,स्वामी हरि महिमानंद, महंत ऋषिईश्वरानंद, महंत दामोदर दास ,समाजसेवी नीरज कुमार, गंगा सभा के स्वागत मंत्री सिद्धार्थ चक्रपाणि, समाजसेवी भूपेंद्र कुमार आदि ने विचार रखे,


कार्यक्रम का संचालन स्वामी आत्म श्रद्धानंद महाराज ने किया इस अवसर पर सभी अतिथियों का आभार जताते हुए नवनियुक्त सचिव स्वामी विशेश्वरानंद महाराज ने कहा कि वे सबको साथ लेकर मिशन को आगे बढ़ाने का कार्य करेंगे और स्वामी नित्यशुद्धानंद महाराज जो कार्य अधूरे छोड़े उन्हें पूरा करने का प्रयास करेंगे उन्होंने कहा कि स्वामी नित्यशुद्धानंद महाराज से उनका 38 साल का संबंध था .उन्होंने कहा कि हम अक्सरस्वामी नित्यशुद्धानंद महाराज से कहा करते थे कि आप रिटायर हो जाएंगे पर उनका जवाब होता था कि अंतिम सांस तक जीव सेवा करता रहूंगा जो हमारे मिशन का सिद्धांत है. और यही उन्होंने किया.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!