ग्रामीणों ने सेना पर जबरन जमीन कब्जा करने का लगाया आरोप…
रानीखेत। (सतीश जोशी )पर्यटक नगरी के मजखाली कस्बे के ग्रामीणों ने सेना पर उनकी नाप भूमि पर जबरन कब्जा करने का आरोप लगाया है। ग्रामीणों ने संयुक्त मजिस्ट्रेट के माध्यम से राष्ट्रपति को ज्ञापन सौंपकर उन्हें न्याय दिलाने की गुहार लगाई।
बुद्धवार को मजखाली के ग्रामीण क्षेत्र रयूनी व मल्ली रियूनी के ग्रामीणों ने तहसील रानीखेत पहुंचकर संयुक्त मजिस्ट्रेट के माध्यम से राष्ट्रपति को भेजे ज्ञापन में शिकायत करते हुए कहा है कि सेना द्वारा उनकी नाप भूमि पर जबरन कब्जा किया जा रहा है। ग्रामीणों ने कहा कि वह कई दशकों से अपनी नाप भूमि पर खेती करते आ रहे हैं। यह भूमि अभिलेखों में कई पीढ़ियों से पूर्वजों के समय से वर्तमान तक उनके हक, हिस्से व कब्जे में चली आ रही है। इन जमीनों के अभिलेख अंग्रेज ऑफिसर विकट के समय से हुए विकेट बंदोबस्त सन् 1872 से हमारे पूर्वजों से उनकी मृत्यु के पश्चात अब उनके नाम दर्ज है। लेकिन सेना द्वारा जबरन इस पर कब्जा करने का प्रयास किया जा रहा है। एक कब्जेदार गोविंद सिंह अधिकारी ने बताया कि विगत 07 अगस्त को 19 कुमाऊं रेजिमेंट के लेफ्टिनेंट कर्नल जो घिघारीखाल में सेवारत हैं। अपने दो साथियों के साथ सेना के वाहन से पीड़ितों की भूमि पर आए और जमीन पर काबिज काश्तकारों व महिलाओं के साथ अभद्रता की। विरोध करने पर वह लड़ाई झगड़े में उतारू हो गए। वह कहने लगे यह भूमि हमारी है। हम किसी भी प्रशासनिक अधिकारी व पुलिस को नहीं मानते हैं। जब ग्रामीणों ने इसका विरोध किया तो सेना के अफसर द्वारा फोन कर लगभग दर्जन भर से अधिक जवानों को यहां बुला लिया और भूमि की सुरक्षा के लिए की गई तार बाढ़ को उखाड़ दिया। ज्ञापन में यह भी कहा है कि ग्रामीणों की भूमि पर लगभग 03 घंटा सेना के जवान व अधिकारी डटे रहे। जवान जाते जाते जमीन खाली ना करने पर बुलडोजर लाकर भूमि को समतल करने की धमकी देकर गए। ग्रामीणों ने सेना पर आरोप लगाया है कि हक हिस्सेदारी व काबिज काश्तकारों की भूमि को सेना के अधिकारियों द्वारा अपनी बताकर जबरन कब्जे करने का प्रयास किया जा रहा है। उन्होंने राष्ट्रपति सहित प्रधानमंत्री, रक्षा मंत्री, मुख्यमंत्री व जिलाधिकारी से गुहार लगाई कि जबरन कब्जा करने से सेना को रोका जाए एवं मामले की निष्पक्ष जांच कर उन्हें न्याय दिलाया जाए। ज्ञापन सौपने वालों में गोविंद सिंह अधिकारी, जयपाल सिंह, कैलाश सिंह, गोविंद सिंह, सुन्दर मेहता आदि लोग सम्मिलित रहे।