लघु व्यापार एसो. के प्रांतीय अध्यक्ष ने स्ट्रीट वेंडर्स पर आधारित हक की लड़ाई लड़ेंगे पत्रिका व कार्टून डॉक्यूमेंट्री फिल्म का किया विमोचन…
हरिद्वार। लघु व्यापारियों के सामूहिक संगठन लघु व्यापार एसोसिएशन के प्रांतीय अध्यक्ष संजय चोपड़ा द्वारा संगठनात्मक मजबूती के लिए नेशनल एसोसिएशन ऑफ स्ट्रीट वेंडर्स ऑफ इंडिया (नासवी) द्वारा प्रकाशित की गई हक की लड़ाई लड़ेंगे पत्रिका और 10 मिनट की कार्टून डॉक्यूमेंट्री फिल्म विमोचन कर रेडी पटरी के स्ट्रीट वेंडर्स संगठनों के प्रतिनिधियों को मुख्य कार्यालय कंधारी धर्मशाला में स्ट्रीट वेंडर्स के जीवन पर दर्शाई जा रही कार्टून डॉक्यूमेंट्री फिल्म को भी प्रदर्शित करते हुए आगामी 09 अगस्त क्रांति दिवस पर प्रधानमंत्री स्ट्रीट वेंडर्स आत्मनिर्भर योजना, राष्ट्रीय आजीविका मिशन, राष्ट्रीय पथ विक्रेता संरक्षण अधिनियम के क्रियान्वयन को लेकर स्वाभिमान रैली का आयोजन कर शक्ति प्रदर्शन किए जाने की भी घोषणा की।
इस अवसर पर लघु व्यापार एसोसिएशन के प्रांतीय अध्यक्ष संजय चोपड़ा ने कहा कि उत्तराखंड राज्य में उत्तराखंड नगरीय फेरी नीति नियमावली 2016 घोषित किए हुए 07 साल हो चले हैं लेकिन राज्य की ब्यूरोक्रेसी की लापरवाही और शहरी क्षेत्र के नगर निकायों की प्रबल इच्छाशक्ति ना होने की वजह से रेडी पटरी के (स्ट्रीट वेंडर्स) लघु व्यापारियों को समय से केंद्र और राज्य सरकार द्वारा चलाई जा रही जन कल्याण कारी योजनाओं का संरक्षण नहीं मिल पाता है, जोकि बहुत ही चिंता का विषय है। संजय चोपड़ा ने कहा आगामी 09 अगस्त क्रांति दिवस पर नासवी के आव्हान पर भारतवर्ष के 10,000 रेड़ी पटरी वालों के संगठन अपने संविधानिक अधिकारों के लिए स्ट्रीट वेंडर्स क्रांति स्वाभिमान रैली का आयोजन कर शक्ति प्रदर्शन के साथ समय-समय पर नगर निगम प्रशासन द्वारा फेरी समिति के निर्णय के क्रियान्वयन समय पर किए जाने के साथ राष्ट्रीय पथ विक्रेता संरक्षण अधिनियम की धाराओं को ईमानदारी के साथ लागू किए जाने की मांग को प्रमुखता से दोहराया जाएगा।
हक की लड़ाई लड़ेंगे स्ट्रीट वेंडर्स पत्रिका व डॉक्यूमेंट्री कार्टून फिल्म का विमोचन के अवसर पर सम्मलित हुए लघु व्यापारियों में लघु व्यापार महिला मोर्चा की अध्यक्ष श्रीमती पूनम माखन, नंदकिशोर गोस्वामी, कमल पंडित, जय सिंह बिष्ट, तारकेश्वर प्रसाद, अवधेश कोठियाल, कुंवर सिंह मंडल, नीरज कश्यप, रणवीर सिंह, मोहनलाल, सोमराज शर्मा, कल्लू, चंदन दास, बिजेंदर आदि प्रमुख रूप से शामिल रहे।